रानीचौरी क्षेत्र में गहराया पेयजल संकट

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लोहीताल पम्पिंग पेयजल योजना, शुरुआती दौर में ही चरमराने लगी है व्यवस्था, नहीं हो पा रही है समुचित जलापूर्ति
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रानीचौरी में आजकल अधिकांश लोग पेयजल की समस्या से जूझ रहे हैं, संबंधित विभाग को इससे कोई मतलब नहीं है। क्षेत्र के सामाजिक कार्यकर्ता गोपाल बहुगुणा ने यह जानकारी देते हुए बताया कि यदि विभाग को समस्या से अवगत कराया जाता है तो वह समस्या का समाधान नहीं, बल्कि समस्या को और उलझा कर पेश कर देते हैं।

कहा किः मैं अपनी बात करुं तो मेरे घर में इस महीने 9 दिन पानी की सप्लाई हुई, वह भी 20,25, मिनट तक, कहीं पानी की सप्लाई ठीक हो रही है कहीं पानी की सप्लाई हो ही नहीं रही है। इस टेक्नीकल समस्या को कौन ठीक करेगा? कहा किः मैं सरकार से पूछना चाहता हूं कि टिहरी में इतनी विशाल झील होने के बावजूद भी टिहरी के गांव में पानी की किल्लत क्यों बनी रहती है जबकि पानी जीवन के लिए प्रथम आवश्यकता है, सरकार बड़े-बडें प्रोजेक्ट पर हजारों करोड़ों की धनराशि खर्च कर रही है, जिनकी फिलहाल इतनी आवश्यकता भी नहीं थी, यदि यही धनराशि टिहरी झील से पानी लिफ्ट करने में खर्च होती तो इस क्षेत्र में हमेशा के लिए पानी की समस्या से निजात मिल सकती थी, लेकिन मुझे लगता है कि जनता को अब अपनी समस्याओं की लड़ाई स्वयं लड़नी होगी।

उन्होंने कहा कि जनप्रतिनिधियों को ही लीजिए, वह केवल अपने हित की बात ही सोचते हैं, उन्होंनें यहां पर माननीय विधायक महोदय से भी कहना चाहूंगा कि जल विभाग के अधिकारियों को सख्त निर्देश दे दिए जांए कि किसी भी क्षेत्र से पानी समस्या की शिकायत आती हैं तो उस अधिकारी पर सख्त से सख्त कार्रवाई की जाए या सीधे घर बिठा दिया जाए,क्यों बेरोजगारी बहुत है, इन अधिकारियों की तीन गुनी आधी वेतन पर इनसे अच्छी सेवा देने के लिए पढ़ें लिखे युवा तैयार हैं,इस तर्ज पर यदि हमारे नेता लोग काम करते हैं तो उत्तराखंड कुछ ही समय में प्रगति कर सकता है। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि शीघ्र समस्या का निराकरण नहीं हुआ तो वे इस क्षेत्र की पानी की समस्या एवं अधिकारियों की कार्यशैली के संबंध में हम माननीय प्रधानमंत्री जी को भी अवगत करेंगे।