इमानदारी अभी जिन्दा है की मिशाल बना थलीसैण का दीपक भण्डारी

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इमानदारी अभी जिन्दा है की मिशाल बना थलीसैण का दीपक भण्डारी
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एक तरफ जहां देवभूमि उत्तराखण्ड की तीर्थनगरी ऋषिकेश में जेब कतरे अपना शिकंजा कायम करने को आमादा हैं वहीं इस देवभूमि में इमानदारी अभी जिन्दा है। इस मिशाल को सार्थक बनाया थलीसेण निवासी युवक दीपक भण्डारी ने। जिसने समाजसेवी जे0पी0 नौटियाल के जरूरी कागजात वाला पर्स नटराज चौराहे पर नाली के पास पड़ा पाया और पर्स मालिक की तलाश कर उनके जरूरी कागजात उन्हें देहरादून जाकर सौंपे।

[su_highlight background=”#091688″ color=”#ffffff”]सरहद का साक्षी, देहरादून[/su_highlight]

आपको बता दें कि जौनपुर विकास खण्ड के ग्राम स्यालसी मूल निवासी मनरेगा लोकपाल जगदीश प्रसाद नौटियाल उर्फ जे0पी0 नौटियाल गत चार दिन पूर्व सपत्नीक चम्बा से देहरादून अपने गन्तव्य को जा रहे थे कि ऋषिकेश नटराज चौराहे पर वाहन पर बैठते समय किसी जेब कतरे ने उनकी पैंट के पीछे की जेब में रखा पर्स उड़ा, लिया। इसकी भनक श्री नौटियाल को तब लगी जब वे पर्स से किराया हेतु पैसे निकाल रहे थे। वे तुरन्त वाहन से उतरे और अपने पर्स की तलाश करने लगे। उन्हें पर्स कहीं न दिखायी देने पर उन्होंने पुसिल को इसकी सूचना दर्ज करवायी और अपने गन्तव्य देहरादून चले गए।

इमानदारी अभी जिन्दा है की मिशाल बना थलीसैण का दीपक भण्डारी

आधा सप्ताह से अधिक का समय बीत जाने के बाद आज दोपहर चम्बा के रास्ते देहरादून जाते थलीसैण निवासी दीपक भण्डारी को नटराज चौराहे के निकट नाली के पास उक्त पर्स दिखायी दिया। जिसे उन्होंने सड़क के किनारे से उठा लिया उसे खोलकर देखा तो उसमें उन्हें जाधार कार्ड, पेन कार्ड, राज्य आंदोलनकारी पहचान पत्र, दो एटीएम कार्ड अिद आवश्यक दस्तावेज दिखायी दिए। इसके साथ ही उन्हें इस पर्स में सरहद का साक्षी न्यूज पोर्टल का विजिटिंग कार्ड भी मिला। किसी अन्य दस्तावेज में मोबाइल नम्बर न होने के कारण उन्होंने सरहद का साथी कार्यालय में फोन किया और पर्स पाने की सूचना के साथ श्री जे0पी0नौटियाल का हवाला दिया। इस पर तत्काल सरहद का साक्षी कार्यालय द्वारा श्री जे0पी0 नौटियाल को इसकी सूचना दी गई। जो वर्तमान समय तक देहरादून में ही थे।

श्री जे0पी0 नौटियाल द्वारा पुनः दीपक भण्डारी को फोन से सम्पर्क किया गया। जिस पर थलीसैण निवासी दीपक भण्डारी ने देहरादून जाना बताया और उन्हें देहरादून जाकर उनका खोया हुआ पर्स मय आवश्यक दस्तावेजों के लौटाया। अपना खोया हुआ पर्स पाकर श्री जे0पी0 नौटियाल की खुशी का ठिकाना नहीं रहा। उन्होंने दीपक भण्डारी की इमानदारी के लिए उन्हें साधुवाद दिया और अपने स्तर से इमानदारी का पुरस्कार भी उन्हें प्रदान किया।

समाजसेवी एवं मनरेगा लोकपाल जे0पी0 नौटियाल ने इस बाबत रिपोर्टिंग पुलिस चौकी को भी अपना पर्स मिल जाने की सूचना प्रदान की और श्री दीपक भण्डारी की इमानदारी की भूरि-भूरि प्रशंसा की। श्री नौटियाल ने कहा कि देवभूमि उत्तराखण्ड में जहां जेब कतरे व माफिया अपना पैर पसारने का प्रयास कर यहां की छबि बिगाड़ने का कार्य करने को आमादा हैं वहीं इमानदारी की मिशाल कायम करने वाले श्री दीपक भण्डारी जैसे युवा उत्तराखण्ड की देवभूमि को छवि पर आंच न आने को एक सजग प्रहरी की तरह कार्य कर रहे हैं।