नैचोली गांव में ग्रामीणों के लहलहाते खेत हो रहे हैं बंजर, ग्रामीणों ने की गूल पुनर्निमाण की मांग

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नैचोली गांव में ग्रामीणों के लहलहाते खेत हो रहे हैं बंजर, ग्रामीणों ने की गूल पुनर्निमाण की मांग
नैचोली गांव में ग्रामीणों के लहलहाते खेत हो रहे हैं बंजर, ग्रामीणों ने की गूल पुनर्निमाण की मांग
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नैचोली गांव में ग्रामीणों के लहलहाते बंजर हो रहे हैं, ग्रामीणों ने गूल पुनर्निमाण की मांग की है।

सरहद का साक्षी, डी.पी. उनियाल @गजा

विकास खंड चम्बा के नैचोली गांव में सैकड़ों हेक्टेयर सिंचित भूमि में जहां वर्षों पहले धान, गेंहू की फसल लहलहाती थी तथा ग्रामीण आलू, प्याज, अदरक, लहसून, अरबी, आदि सब्जियों का उत्पादन कर अपने लिए साल भर की सब्जी पैदा कर देते थे उन्हीं खेतों में अब झाड़ियां उग आई हैं तथा बंजर हो गये हैं।

ग्रामीण लघु सिंचाई विभाग नई टिहरी से अपनी गूल पुनर्निमाण करने की मांग करते आ रहे हैं। आपको बता दें कि धारअकरिया पट्टी के नैचोली गांव में सैकड़ों हेक्टेयर भूमि मल्ली गूल से सिंचित होती थी, वर्षों पहले इस डेढ़ किलोमीटर लम्बी गूल को सीमेंट कंक्रीट से बनाया गया था जो कि अब 4 साल पहले जगह जगह से क्षतिग्रस्त हो गई है, गूल क्षतिग्रस्त होने पर सिंचाई के लिए पानी एक बूंद भी नहीं आ पा रहा है, ग्रामीणों ने लघु सिंचाई विभाग नई टिहरी से गुहार लगाई है कि नहर पुनः निर्माण के लिए धनराशि स्वीकृत कर पानी उपलब्ध कराया जाय ताकि वह फिर से अपने खेतों में फसल उत्पादन कर सकें। गांव में सिंचाई के लिए दो हौज भी बने हुए हैं जो अब वगैर पानी के क्षतिग्रस्त हो गए हैं, इन दोनों हौजों में भी झाड़ियां हो गई हैं।

ग्रामीणों का कहना है कि लोहे या प्लास्टिक के 4 इंच मोटे पाइप डाल कर पानी पहुंचाया जाय। गांव निवासियों के द्वारा विगत साल पहले प्रस्ताव भेजा गया है तथा वर्तमान में 5 दिसंबर को दिनेश प्रसाद उनियाल अध्यक्ष प्रगतिशील जन विकास संगठन गजा टिहरी गढ़वाल के द्वारा भी जिलाधिकारी टिहरी गढ़वाल नई टिहरी को पत्र भेजा गया है। इसी वित्तीय वर्ष में धनराशि स्वीकृत हो जाती तो काश्तकार मई,जून में धान की फसल की बुआई कर सकते हैं। ग्रामीणों ने लघु सिंचाई विभाग नई टिहरी से धनराशि स्वीकृत की मांग की है।

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